सीईएनएस ने कमरे के तापमान पर डिस्प्ले उपकरणों के लिए नवीन प्रकाश-सुग्राही कोलेस्टेरिक तरल क्रिस्टलों का संश्लेषण किया
विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग के स्वायत्त संस्थान सेंटर फॉर नैनो एंड सॉफ्ट मैटर साइंसेज (सीईएनएस), बेंगलुरु के वैज्ञानिकों ने व्यापक थर्मल रेंज के लिए कमरे के तापमान पर नवीन प्रकाश-सुग्राही कोलेस्टेरिक तरल क्रिस्टल की श्रृंखला को संश्लेषित किया है, जिसका इस्तेमाल ऑप्टिकली रिराइटेबल बोर्ड, विज्ञापन बोर्ड आदि जैसे ऑप्टिकल भंडारण उपकरण बनाने के लिए किया जा सकता है।
तरल क्रिस्टल मानव जीवन का एक अभिन्न अंग बन चुके हैं, उदाहरण के लिए कंप्यूटर, मोबाइल, टीवी स्क्रीन आदि जैसे सबसे आधुनिक डिस्प्ले डिवाइस इसी तरह तरल क्रिस्टल से बनते हैं। कोलेस्टेरिक तरल क्रिस्टल विशेष प्रकार की पदार्थ होते है, जिनमें तरंग दैर्ध्य या वेव्लेंगथ के प्रकाश को उसकी पिच लेंगथ के बराबर प्रतिबिंबित करने वाले पदार्थ होते हैं, और यह पिच लेंगथ तापमान के प्रति संवेदनशील होती है। इसलिए, वे आमतौर पर थर्मल सेंसर के रूप में उपयोग में लाए जाते हैं। यदि इस तरह के कोलेस्टेरिक तरल क्रिस्टल को प्रकाश-सुग्राही होते हैं, तो इन पदार्थों का उपयोग ऑप्टिकल भंडारण उपकरणों और अन्य संबंधित अनुप्रयोगों के लिए किया जा सकता है।
डॉ. वीणा प्रसाद के नेतृत्व में सीईएनएस के वैज्ञानिकों की टीम ने इन नवीन प्रकाश-सुग्राही कोलेस्टेरिक तरल क्रिस्टल का 10oC से 160oC तापमान रेंज तक संश्लेषित किया है। इसलिए, इन तरल क्रिस्टल का उपयोग करके बनाए गए उपकरणों का उपयोग साइबेरिया से सऊदी अरब तक में किया जा सकता है, जहां कठोर तापमान जैसी स्थिति होती है। ऐसे पदार्थों को संश्लेषित करने के लिए सरल, किफायती प्रक्रिया अपनाई गई। ये कमरे के तापमान के तरल क्रिस्टल का उपयोग ऑप्टिकल भंडारण उपकरणों, लिक्विड क्रिस्टल डिस्प्ले आदि बनाने के लिए किया जा सकता है।
यह आविष्कार निश्चित रूप से एक बहुत ही सरल लेकिन शक्तिशाली फोटोआइसमेरिशन अवधारणा के साथ उपकरणों की लागत को कम करने में मदद करेगा। इस आविष्कार के लिए भारतीय पेटेंट दायर किया गया है।